काठमांडू. नेपाल के नवनियुक्त गृह मंत्री ओम प्रकाश आर्यल ने सोमवार को कहा कि अंतरिम सरकार का लक्ष्य स्वतंत्र और निष्पक्ष माहौल में समय पर आम चुनाव कराना है. हाल ही में जेन-जेड वार्ता में अहम भूमिका निभाने वाले एक प्रमुख वकील आर्यल ने सोमवार को गृह और विधि, न्याय एवं संसदीय कार्य मंत्री के रूप में शपथ ली. शपथ ग्रहण समारोह के तुरंत बाद उन्होंने अपना कार्यभार संभाल लिया.
आर्यल ने पदभार ग्रहण करने के बाद मीडिया से बातचीत में कहा कि कार्यवाहक सरकार का गठन स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने के स्पष्ट आदेश के साथ किया गया था. उनके अनुसार, हाल के प्रदर्शनों के दौरान क्षतिग्रस्त हुए बुनियादी ढांचे का पुर्निनर्माण और सुशासन सुनिश्चित करना सरकार की प्राथमिकताएं होंगी.
उन्होंने कहा, ”अगर विद्रोह से विस्थापित हुए लोगों को वापस आने का रास्ता दिखाई देता है, तो उन्हें चुनाव के माध्यम से खुद को परखना चाहिए और नागरिकों का जनादेश लेना चाहिए.” उन्होंने प्रदर्शनों के दौरान कथित अत्यधिक बल प्रयोग की जांच का भी वादा किया, जिसके कारण 72 लोगों की मौत हो गई.
सुशीला कार्की रविवार को नेपाल की पहली महिला प्रधानमंत्री बनीं. इसके साथ ही भ्रष्टाचार और सोशल मीडिया पर सरकारी प्रतिबंध को लेकर युवाओं के नेतृत्व वाले ‘जेन-जेड’ विरोध प्रदर्शनों के परिणामस्वरूप प्रधानमंत्री के.पी. शर्मा ओली को पद से हटाए जाने के उपरांत कई दिनों से चल रही राजनीतिक अनिश्चितता का अंत हो गया. नयी सरकार को पांच मार्च, 2026 को नये सिरे से चुनाव कराने का दायित्व सौंपा गया है.
नेपाल के तीन नवनियुक्त मंत्रियों ने शपथ ली
नेपाल में सुशीला कार्की के नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार में तीन नवनियुक्त मंत्रियों ने सोमवार को पद की शपथ ली, जिनमें बिजली बोर्ड के पूर्व सीईओ कुलमन घीसिंग भी शामिल हैं. राष्ट्रपति रामचंद्र पौडेल ने राष्ट्रपति कार्यालय शीतल निवास में एक समारोह में नए मंत्रियों को पद की शपथ दिलाई. शीतल निवास को हाल ही में हुए हिंसक विरोध प्रदर्शनों के दौरान क्षतिग्रस्त कर दिया गया था. यह कार्यक्रम एक तंबू के नीचे आयोजित किया गया. छह महीने में संसदीय चुनाव कराने के लिए अधिकृत मंत्रिमंडल में प्रधानमंत्री कार्की समेत अब चार सदस्य हैं.
सोशल मीडिया पर प्रतिबंध और कथित भ्रष्टाचार के खिलाफ ‘जेन जेड’ समूह के व्यापक विरोध प्रदर्शनों के बाद प्रधानमंत्री के पी शर्मा ओली ने गत मंगलवार को इस्तीफा दे दिया, जिससे पैदा हुई राजनीतिक अनिश्चितता कार्की (73) द्वारा 12 सितंबर को शपथ लिए जाने साथ ही समाप्त हो गई थी.
नेपाल विद्युत प्राधिकरण के पूर्व सीईओ घीसिंग ने तीन विभागों ऊर्जा, जल संसाधन एवं सिंचाई; भौतिक अवसंरचना एवं परिवहन; और शहरी विकास मंत्रालय का कार्यभार संभाला है, जबकि पूर्व वित्त सचिव रामेश्वर खनल ने वित्त मंत्री के रूप में शपथ ली है.
हाल ही में जेन-जेड वार्ता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले प्रमुख वकील ओम प्रकाश आर्यल ने गृह और विधि, न्याय एवं संसदीय कार्य मंत्री के रूप में शपथ ली है. शपथ ग्रहण समारोह के तुरंत बाद मंत्रियों ने अपने-अपने पदभार ग्रहण कर लिए.
गृह मंत्री आर्यल ने कहा कि अंतरिम सरकार का लक्ष्य स्वतंत्र व निष्पक्ष माहौल में समय पर चुनाव कराना है.
पदभार ग्रहण करने के बाद मीडिया से बात करते हुए आर्यल ने कहा कि सरकार स्वतंत्र व निष्पक्ष चुनाव कराने के स्पष्ट जनादेश के साथ बनी है. आर्यल के अनुसार, हाल के प्रदर्शनों के दौरान क्षतिग्रस्त हुए भौतिक ढांचों का पुर्निनर्माण और सुशासन सुनिश्चित करना सरकार की प्राथमिकताएं होंगी.
उन्होंने कहा, “अगर विद्रोह के जरिए हटाए गए लोगों को वापस आने का रास्ता दिखता है, तो उन्हें चुनाव के जरिए खुद को परखना होगा और जनादेश हासिल करना होगा.” उन्होंने प्रदर्शनों के दौरान कथित तौर पर अत्यधिक बल प्रयोग की जांच का भी वादा किया, जिसके कारण 72 लोगों की मौत हो गई थी.


