नयी दिल्ली. भारतीय परिवारों का औसत तिमाही खर्च पिछले तीन वर्षों में लगातार 33 प्रतिशत से अधिक बढ़कर 2025 में 56,000 रुपये हो गया. शहरी और ग्रामीण भारत में उपभोग व्यवहार पर ‘वर्ल्डपैनल बाय न्यूमेरेटर’ की एक रिपोर्ट में यह बात कही गई.
विशेष रूप से शहरी क्षेत्रों में हर साल घरेलू खर्च में उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की गई है. हालांकि, रिपोर्ट में आगे कहा गया कि ग्रामीण क्षेत्रों में भी खर्च बढ़ा है.
इसके मुताबिक, ”घरेलू खर्च लगातार बढ़ रहा है. औसत तिमाही खर्च 2022 में लगभग 42,000 रुपये से बढ़कर 2025 में 56,000 रुपये से अधिक हो गया. शहरी परिवार सबसे अधिक खर्च कर रहे हैं, लेकिन ग्रामीण परिवारों में भी तेज उछाल देखा गया है, जो देश भर में बजट पर बढ़ते दबाव को रेखांकित करता है.” शहरी बाजारों में औसत तिमाही खर्च जून, 2022 में 52,711 रुपये था और यह बढ़कर मार्च, 2024 में 64,583 रुपये और मार्च, 2025 में 73,579 रुपये हो गया. इसी तरह, ग्रामीण परिवारों का औसत तिमाही खर्च जून, 2022 में 36,104 रुपये था और यह बढ़कर मार्च, 2025 में 46,623 रुपये हो गया. यह रिपोर्ट 6,000 परिवारों के बीच किए गए सर्वेक्षण पर आधारित है.


